यह वृहत आर्थिक नीति की एक कार्य साधन उपाय है, जो अर्थव्यवस्था (Economy) के व्यय के स्तर पर नियंत्रण के क्रम में मुद्रा आपूर्ति, क्रेडिट तथा ब्याज दर (Interest Rate) से सबंधित नियमों के संचालन में संलग्न होता है।
अर्थात इस नीति के द्वारा रिजर्व बैंक (Reserve Bank) मुद्रा आपूर्ति को प्रसारित करता या सिकोड़ता है, अथवा ऋण को सस्ता या महंगा बनाता है।