अखिल भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की स्थापना कैसे हुई? इसके प्रारंभिक उद्देश्य क्या थे?
539 views
12 Votes
12 Votes
अखिल भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की स्थापना कैसे हुई? इसके प्रारंभिक उद्देश्य क्या थे? Akhil Bhartiya Rashtriya Congress Ki Sthapna Kaise Hui? Iske Prarambhik Uddeshya Kya The?

2 Answers

1 Vote
1 Vote
 
Best answer

सन् 1885 में भारतीय राष्ट्रीय काँग्रेस की स्थापना के पूर्व देश में कोई अखिल भारतीय राजनीतिक संस्था नहीं थी, यद्यपि क्षेत्रीय स्तर पर वर्गीय हितों की सुरक्षा के लिए अनेक संस्थाएँ कार्यरत थीं।

आर्स ऐक्ट और इलबर्ट बिल पर हुए विवाद एवं भारतीय प्रतिक्रिया को देखते हुए एक अखिल भारतीय राजनीतिक संगठन की आवश्यकता महसूस की गई।

अतः, इंडियन एसोसिएशन के सचिव आनंद मोहन बसु ने दिसंबर 1883 ई० में सभी राजनीतिक प्रतिनिधियों की सभा-इंडियन नेशनल काँफ्रेंस का आयोजन कलकत्ता में किया।

इसी समय एक उदारवादी सेवानिवृत्त अँगरेज पदाधिकारी ए. ओ. ह्यूम भी इस दिशा में प्रयासरत थे। ह्यूम का उद्देश्य भारत को क्रांतिकारी मार्ग पर जाने से रोकना था।

वह ऐसी संस्था बनाना चाहते थे जो अपनी माँगों के लिए शांतिपूर्ण संवैधानिक मार्ग अपना सके। अपनी संस्था को वह सुरक्षा कवच बनाना चाहते थे।

भारतीय नेता स्वयं कोई राजनीतिक संगठन बनाकर आरंभ से ही सरकार का कोपभाजन बनना नहीं चाहते थे।

इसलिए, भारतीयों ने ह्यूम की संस्था का उपयोग विद्युत-प्रतिरोधक के रूप में किया। ह्यूम के प्रयास का समर्थन प्रमुख भारतीय नेताओं ने भी किया।

ह्यूम ने लॉर्ड डफरिन एवं ब्रिटिश पार्लियामेंटरी कमेटी की सहमति प्राप्तकर इंडियन नेशनल यूनियन स्थापित करने की योजना बनाई।

5 दिसंबर 1885 ई० को इंडियन नेशनल काँग्रेस की स्थापना की घोषणा की गई। पहले इसका अधिवेशन पूना में होना था।

परंतु वहाँ प्लेग फैलने के कारण इसका अधिवेशन 28 दिसंबर 1885 को बंबई के गोकुलदास तेजपाल संस्कृत कॉलेज में हुआ। इसकी अध्यक्षता व्योमेशचंद्र बनर्जी ने की।

काँग्रेस का आरंभिक उद्देश्य राष्ट्रीय एकता के लिए प्रयास करना, राजनीतिक और सामाजिक प्रश्नों पर प्रमुख नागरिकों एवं शिक्षित वर्गों के मतों की अभिव्यक्ति करना तथा सुधारों के लिए वायसराय और उनकी कौंसिल को स्मारपत्र देना था।

4 Votes
4 Votes

सन् 1883 ई. के दिसंबर में इंडियन एसोसिएशन के सचिव आनंद मोहन बोस ने कोलकाता में नेशनल कांफ्रेंस (National Conference) नामक एक अखिल भारतीय संगठन का सम्मेलन बुलाया, जिसका उद्देश्य बिखरे राष्ट्रवादी शक्तियों को एकजुट करना था।

परंतु दूसरी तरफ, एक रिटायर्ड ब्रिटिश अधिकारी ए. ओ. हयूम ने भारत में व्याप्त असंतोष को देखते हुए एक सुरक्षा कवच के रूप में कांग्रेस की स्थापना में अपना सहयोग दिया।

अन्ततः 28 दिसम्बर 1885 ई० में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की स्थापना हुई। इस बैठक की अध्यक्षता वोमेशचन्द्र बनर्जी ने की थी, उसमें कुल 72 सदस्य शामिल हुए थे।

इस प्रकार एक अखिल भारतीय राजनीतिक मंच के रूप में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (Bhartiya Rashtriya Congress) की स्थापना हुई।

भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के आरंभिक उद्देश्य निम्नलिखित थे:

  1. भारत के विभिन्न क्षेत्रों में राष्ट्रीय हित के काम से जुड़े लोगों के संगठनों के बीच एकता की स्थापना का प्रयास।
  2. देशवासियों के बीच भिन्नता और सदभावना का संबंध स्थापित कर धर्म, वंश, जाति या प्रान्तीय विद्वेष को समाप्त करना।
  3. राष्ट्रीय एकता के विकास एवं सूदृढ़ीकरण के लिए हर संभव प्रयास करना।
  4. महत्त्वपूर्ण एवं आवश्यक विषयों के प्रश्नों पर भारत के प्रमुख नागरिकों के बीच चर्चा करना एवं उनके संबंध में प्रमाणों का लेखा तैयार करना।
  5. प्रार्थना पत्रों तथा स्मार पत्रों द्वारा वायसराय एवं उनकी काउन्सिल से सुधार हेतु प्रयास करना।

RELATED DOUBTS

Peddia is an Online Question and Answer Website, That Helps You To Prepare India's All States Boards & Competitive Exams Like IIT-JEE, NEET, AIIMS, AIPMT, SSC, BANKING, BSEB, UP Board, RBSE, HPBOSE, MPBSE, CBSE & Other General Exams.
If You Have Any Query/Suggestion Regarding This Website or Post, Please Contact Us On : [email protected]

CATEGORIES