कांग्रेस का दूसरा अधिवेशन 1886 ई. में कलकत्ता (Calcutta) में हुआ। इसकी अध्यक्षता दादाभाई नौरोजी (Dadabhai Naoroji) ने की।
इसी अधिवेशन में इंडियन एसोसिएशन तथा भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का विलय हुआ।
इसके अतिरिक्त दादाभाई नौरोजी ने 1893 ई. में लाहौर अधिवेशन तथा वर्ष 1906 में कलकत्ता अधिवेशन की अध्यक्षता की थी।