भारत में उदारीकृत विनियम दर प्रबंधन प्रणाली की स्थापना वर्ष 1992 में की गई थी ।
उदारीकृत विनिमय दर प्रबंधन प्रणाली की घोषणा तात्कालीन वित्त मंत्री मनमोहन सिंह और भारतीय रिजर्ब बैंक द्वारा की गई थी।
- आर्थिक सुधार की प्रक्रिया के तहत 1992-93 के बजट में वित्त मंत्री ने व्यापार खाते पर रुपए की आंशिक परिवर्तनीयता घोषित की।
- स्थिर विनिमय दरें किसी देश के केंद्रीय बैंकों द्वारा तथा अस्थायी विनिमय दरें बाजार की माँग और आपूर्ति के तंत्र द्वारा तय की जाती है।
- उदारीकरण विनिमय दर प्रबंधन प्रणाली के तहत दोहरी विनिमय दर लागू की गई है।
- वित्त वर्ष 1992-93 में भारत फ्लोटिंग करेंसी के दौर में प्रवेश कर गया जिसे दोहरी विनिमय दर के रूप में लागू किया गया। जिसके अन्तर्गत आधिकारित दर और बाजार दर के अन्तर्गत विनिमय दर निर्धारित किया जाता है।