जल-संभर प्रबंधन (watershed management) से तात्पर्य सतही और भौम-जल संसाधनों के दक्ष प्रबंधन से है। इसके अंतर्गत बहते जल को रोकना और अन्तः स्रवण तालाब, पुनर्भरण, कुँओं आदि विभिन्न विधियों से भूमिगत जल का संचयन और पुनर्भरण शामिल है।
विस्तृत अर्थ में जलसंभर प्रबंधन के अंतर्गत सभी संसाधनों प्राकृतिक (जैसे भूमि, जल, पौधे और प्राणी) और जलसंभर सहित मानवीय संसाधनों के संरक्षण, पुनरूत्पादन और विवेकपूर्ण उपयोग को सम्मिलित किया जाता है।
इसका उद्देश्य प्राकृतिक संसाधनों और समाज के बीच संतुलन लाना है और यह संप्रदाय के सहयोग पर निर्भर करता है।