भारत में 1960 के दशक में लगातार तीन वर्षों तक 1965 से 1967 के बीच भयंकर अकाल (सुखाड़) पड़ गए। इसी बीच 1962 में चीन के साथ एवं 1965 में पाकिस्तान के साथ युद्ध भी हुए।
साथ ही पंडित जवाहर लाल नेहरू एवं लालबहादुर शास्त्री के निधन से राजनीतिक अनिश्चितता का दौर इस दशक में उत्पन्न हो गया।
इन सब कारणों के चलते देश में खाद्यान्न संकट की स्थिति उत्पन्न हो गई। बिहार में खाद्यान्न संकट सबसे ज्यादा विकराल था।
खाद्यान्न की कमी के चलते कुपोषण गंभीर रूप धारण कर लिया। मृत्यु दर में अप्रत्याशित वृद्धि दर्ज की गई।