जीवन चक्र की दृष्टि से, पौधे का सबसे महत्वपूर्ण अंग पुष्प (Flower) है।
पुष्प पौधे का जनन अंग है। इसमें बाह्य दलपुंज, दलपुंज पुमंग और जायांग पाये जाते हैं। इसमें से पुमंग नर जननांग व जायांग मादा जननांग है।
पत्ती का रंग हरा क्लोरोफिल के कारण की होता है। इसका मुख्य कार्य प्रकाश संश्लेषण क्रिया के द्वारा भोजन बनाना है।
जड़ पौधों का अवरोही भाग है, जो मूलांकुर से विकसित होता है।
जड़े दो प्रकार की होती हैं—
- मूसला जड़ तथा
- अपस्थानिक जड़
मूसला जड़ों का रूपान्तरण —
- तर्कु रूपी (Fusiform) → मूली
- शंकु आकार (Conical) → गाजर
- कुम्भी रूप (Napiform)→ शलजम
तनों का रूपांतरण —
- कन्द → आलू
- धनकंद → बंडा, केसर
- प्रकंद → हल्दी, अदरक
- शल्ककंद → प्याज