13 अप्रैल, 1919 को जालियाँवाला बाग हत्याकांड के बाद रवीन्द्रनाथ टैगोर ने ब्रिटिश सरकार प्रदान की गई नाइटहुड' की उपाधि 30 मई, 1919 लौटा दी।
Note :
- महात्मा गाँधी ने जालियाँवाला बाग हत्याकाण्ड के विरोध में कैसर - ए - हिन्द की उपाधि लौटा दिया।
- जमना लाल बजाज ने राय बहादुर की उपाधि, इस घटना के बाद लौटा दिया।
- जालियाँवाला बाग हत्या के जाँच के लिए काँग्रेस ने मालवीय समिति बनाया था।
- रवीन्द्रनाथ टैगोर को 1915 में ब्रिटिश सरकार की ओर से नाइटहुड की उपाधि दिया गया था।
- वायसराय के कार्यकारिणी परिषद के सदस्य शंकरन नायर ने त्याग पत्र दे दिया था।
- जलियाँवाला हत्या काण्ड के समय पंजाब का उप-राज्यपाल माइकल ओ डायर था ।
- इस काण्ड में भारतीय सरकारी गवाह हंसराज बन गया।
- उस समय मॉर्शल लॉ लागू किया गया था, जिसका उल्लंघन मानते हुए जनरल आर० ओ डायर ने गोली चलाने का आदेश दिया, जिसमें सरकारी रिपोर्ट में 379 व्यक्तियों की मृत्यु होने की पुष्टि की ( हण्टर आयोग)
- ब्रिटिश प्रेस ने जनरल आर० डायर को ब्रिटिश साम्राज्य का शेर की संज्ञा दी।