जब किसी देश का किसी दूसरे देश के साथ आयात और निर्यात बिक्री अनुबंध के अंतर्गत होता है तो उसे हम विदेशी व्यापार के अंतर्गत रखते हैं और वह देश किसी देश से आवश्यकतानुसार आयात और आधिक्य को निर्यात कर सकता है।
विश्व में कोई भी देश सारी वस्तुओं का उत्पादन नहीं करता है। जब किसी देश में कोई वस्तु का उत्पादन होता है तो उस देश के पास निर्यात करने लाभ होता है।
भारत में विदेशी व्यापार नीति पाँच वर्ष के लिए बनाई जाती है (वर्तमान में 1 अप्रैल, 2015 से 2020 तक की नीति चल रही है)
भारत में विदेशी व्यापार नीति वाणिज्य मंत्रालय बनता है।