संविधान के अनुच्छेद 108 के अनुसार दोनों सदनों का संयुक्त अधिवेशन (Joint Session) तब आयोजित किया जाता है, जब किसी साधारण विधेयक पर विचार करने और उसे पारित करने में दोनों सदनों में मतभेद हो।
संयुक्त अधिवेशन की अध्यक्षता लोक सभाध्यक्ष करते हैं। लोकसभा अध्यक्ष द्वारा धन विधेयक को प्रमाणित किया जाता है।
लोकसभा अध्यक्ष का चुनाव लोकसभा के सदस्यों द्वारा किया जाता है। लोकसभा अध्यक्ष एवं उपाध्यक्ष अपना त्यागपत्र एक-दूसरे को सौंपते हैं।
लोकसभा के सदस्यों की अधिकतम संख्या 552 निर्धारित की गई है।
भारत में संयुक्त अधिवेशन का प्रावधान ऑस्ट्रेलिया के संविधान से लिया गया है।
धन विधेयक (Money Bill) संविधान संशोधन विधेयक आदि पर संयुक्त अधिवेशन नहीं बुलाया सकता है।
भारत में अब तक तीन बार संयुक्त अधिवेशन का आयोजन किया गया है।