इस विधि में आवेशित वस्तु को अनाआवेशित वस्तु के पास बिना संपर्क कराएं रखा जाता है। आवेशित वस्तु के पास रखे सिरे पर विपरीत प्राकृति का आवेश तथा दूरस्थ वाले सिरे पर समान प्राकृतिक का आवेश प्रेरित हो जाता है। यह आवेश सभी एक अनाआवेशित वस्तु के सिरे पर बना रहता है। जबकि आवेशित वस्तु उसके पास उपस्थित रहे। इसे प्रेरण आवेश (Induction Charge) कहते है।