अलाउद्दीन खिलजी (Alauddin Khilji) दिल्ली सल्तनत का पहला सुल्तान था, जिसने भू-राजस्व नीति में कुछ परिवर्तन किए थे। उसने उपज का 50 प्रतिशत भू-राजस्व के रूप में निश्चित किया ।
जिसे अनाज के रूप में लेने के लिए जोर दिया गया। इससे पूर्व बलबन और इल्तुतमिश ने भू-राजस्व उपज की एक-तिहाई दर से अधिक नहीं लिया था। मुहम्मद बिन तुगलक के काल में भी भूमिकर की दर अलाउद्दीन की भांति 50 प्रतिशत ही थी लेकिन जहां अलाउद्दीन ने राजस्व निर्धारण भूमि पैमाइश के आधार पर किया था, वहीं मुहम्मद बिन तुगलक ने बिना पैमाइस के अनुमान के आधार पर ने राजस्व निर्धारित किया था।