इस योजना द्वारा अर्थव्यवस्था को आत्मनिर्भर (self depend) व स्वत: स्फूर्तिवान बनाने पर जोर आ था। पहली बार संतुलित क्षेत्रीय विकास की अवधारणा पर विचार किया गया।
लेकिन भारत चीन युद्ध (1962), भारत पाकिस्तान युद्ध (1965) तथा भीषण सूखा (1965-66) के कारण यह योजना अपने लक्ष्य को प्राप्त नहीं कर सकी।