कृषक मजदूरों को मुख्यतः तीन भागों में बाँटा जा सकता है. (1) खेत में काम करनेवाले मजदूर, (2) कृषि से सम्बद्ध अन्य कार्य करनेवाले मजदूर तथा (3) वैसे मजदूर, जो कृषि के अलावे अन्य सहायक उद्योगों में भी लगे हुए हैं।
राष्ट्रीय श्रम आयोग के अनुसार कृषक मजदूर दो प्रकार के होते हैं— (1) भूमिहीन श्रमिक तथा (2) बहुत छोटा किसान।