ब्याज दर, संपार्श्विक (Collateral) एवं दस्तावेज की आवश्यकता इत्यादि क्रेडिट के निबंधन बनते हैं। साख या क्रेडिट वास्तव में एक दस्तावेज होता है, जिसमें ऋणदाता कर्जदार को पैसा, माल अथवा सेवाएं भविष्य में वायदे के अनुसार वापस लौटाने के लिए देता है।
अतः विकल्प (d) सही होगा ।