मनोसामाजिक पर्यावरण की अवधारणा एवं शिक्षक की भूमिका बताइये। Manus Samajik Parivartan Ki Avdharna AVN Shikshak Ki Bhumika Bataiye.
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मनोसामाजिक पर्यावरण की अवधारणा एवं शिक्षक की भूमिका बताइये। Manus Samajik Parivartan Ki Avdharna AVN Shikshak Ki Bhumika Bataiye.

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शिक्षक द्वारा छात्रों में सामाजिक पर्यावरण के प्रति अवधारणाएँ विकसित करने के लिये निम्नलिखित उपाय किये जा सकते हैं —

  1. छात्रों को विभिन्न प्रकार के त्योहारों के बारे में बताना चाहिये तथा उनकी व्याख्या पर्यावरणीय सन्दर्भ में करनी चाहिये जैसे- दीवाली के त्योहार पर परिवेशीय स्वच्छता का अभियान चलाया जाना। इस त्योहार पर प्रत्येक व्यक्ति अपने घर पर सफेदी, रंगाई, पुताई एवं सफाई आवश्यक रूप से करता है।
  2. विभिन्न प्रकार की सामाजिक परम्पराओं के प्रति छात्रों में सकारात्मक दृष्टिकोण उत्पन्न करना चाहिये। विधवा विवाह, दहेज प्रथा का विरोध एवं सामाजिक मूल्यों का विकास करने वाले नाटकों का मंचन करना चाहिये तथा छात्रों की उसमें सहभागिता सुनिश्चित करनी चाहिए।
  3. समाज में प्रचलित विभिन्न प्रकार के क्षेत्रों को जो कि पर्यावरण के प्रति सकारात्मक भाव रखते हैं, छात्रों के समक्ष प्रस्तुत करना चाहिये तथा छात्रों को उन्हें याद करने के लिये प्रदान करनी चाहिये।
  4. सांस्कृतिक कार्यक्रमों में छात्रों की सहभागिता सुनिश्चित करनी चाहिये, जिससे छात्रों में संस्कृति के तत्वों का ज्ञान उत्पन्न हो तथा वैश्विक पर्यावरणीय संस्कृति के सन्दर्भ में छात्र अपनी महत्वपूर्ण भूमिका का निर्वहन कर सकें।
  5. विभिन्न प्रकार के सामाजिक सम्बन्धों को प्रकट करने वाले गीत एवं नाटकों से भी छात्रों की सहभागिता सुनिश्चित करनी चाहिये क्योंकि उन गीतों एवं नाटकों से सामाजिक सम्बन्धों का सुन्दर रूप प्रस्तुत किया जाता है; जैसे- पिता का पुत्र के प्रति सम्बन्ध एवं गुरु का शिष्य के प्रति सम्बन्ध आदि।
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