नगरीकरण सामाजिक विकास का एक महत्त्वपूर्ण मापदंड है और नगरों को आर्थिक विकास का इंजन कहा जाता है।
औद्योगीकरण से नगरीकरण तथा नगरीकरण से आधुनिकीकरण एक निरंतर प्रक्रिया है। लेकिन नगरीकरण और आर्थिक विकास के बीच समन्वय अति आवश्यक है।
इसके अतिरिक्त नगरीकरण नियोजित होना चाहिए। किन्तु विकासशील देशों में नगरीय जनसंख्या की तीव्र वृद्धि और इसके अनियोजित विकास ने सुविधाओं के साथ-साथ समस्याओं को भी जन्म दिया है। मुख्य समस्याएँ निम्नलिखित हैं—
- ग्रामीण-नगरीय प्रवास और बेरोजगारी
- अधिक घनत्त्व
- अत्यधिक तंग मकान और गंदी बस्तियाँ
- नागरिक सुविधाओं और सेवाओं की कमी मकान की समस्या
- मकान की समस्या
- यातायात संबंधी समस्या
- सामाजिक तनाव
- असन्तुलित लिंग अनुपात
- भूमि की अधिक कीमत
- कृषि भूमि का अतिक्रमण
- नगरीय गरीबी